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资治通鉴 091-100 .司马光.

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   晋纪十六 晋成帝咸和三年(戊子,公元328年)

  [1]春,正月,温峤入救建康,军于寻阳。

   [1]春季,正月,温峤来救援建康,屯军寻阳。

  韩晃袭司马流于慈湖;流素懦怯,将战,食炙不知口处,兵败而死。

   韩晃偷袭在慈湖的司马流,司马流素来怯懦,临战时吓得吃烤肉不知道往嘴里放,结果兵败身死。

  丁未,苏峻帅祖涣、许柳等众二万人,济自横江,登牛渚,军于陵口。台兵御之,屡败。二月,庚戌,峻至蒋陵覆舟山。陶回谓庾亮曰:“峻知石头有重戍,不敢直下,必向小丹杨南道步来;宜伏兵邀之,可一战擒也。”亮不从。峻果自小丹杨来,迷失道,夜行,无复部分。亮闻,乃悔之。

  丁未(二十八日),苏峻带领祖涣、许柳等士众二万人,渡过横江,登上牛渚,屯军于陵口。朝廷军队抵抗屡败。二月,庚戌(初一),苏峻到达蒋陵的覆丹山。陶回对庾亮说:“苏峻知道石头有重兵戍守,不敢直接前来,必定从小丹杨南道徒步前来,应当埋伏兵众截击,可以一战擒获。”庾亮不听。苏峻果然从小丹杨前来,因迷路,夜间赶行,军队各部混乱。庾亮听说后才感后悔。

  朝士以京邑危逼,多遣家人入东避难,左卫将军刘超独迁妻孥入居宫内。

   朝廷士人因京城危急紧迫,大多遣走家人向东避难,只有左卫将军刘超却把妻子儿女迁居宫内。

  诏以卞都督大桁东诸军事,与侍中钟雅帅郭默、赵胤等军及峻战于西陵。等大败,死伤以千数。丙辰,峻攻青溪栅;卞率诸军拒击,不能禁。峻因风纵火,烧台省及诸营寺署,一时荡尽。背痈新愈,创犹未合,力疾帅左右苦战而死;二子、盱随父后,亦赴敌而死。其母抚尸哭曰:“父为忠臣,子为孝子,夫何恨乎!”

  朝廷下诏让卞壶都督大桁以东军事事务,与侍中钟雅率领郭默、赵胤等人的军队与苏峻在西陵交战。卞壶等人大败,死伤数以千计。丙辰(初七),苏峻进攻青溪栅,卞壶率领各路部队拒敌,无法阻止其攻势。苏峻乘风势纵火,烧毁朝廷的台省及诸营寺官署,一时间荡然无存。卞壶背部的痈肿刚好,伤口尚未愈合,支撑着身体率领左右侍卫苦战至死,两个儿子卞和卞盱跟随在父亲身后,也赴敌战死。他们的母亲抚摸着尸体痛哭说:“父亲是忠臣,儿子是孝子,还有什么遗憾呢!”

  丹杨尹羊曼勒兵守云龙门,与黄门侍郎周导、庐江太守陶瞻皆战死。庾亮帅众将陈于宣阳门内,未及成列,士众皆弃甲走,亮与弟怿、条、翼及郭默、赵胤俱奔寻阳。将行,顾谓钟雅曰:“后事深以相委。”雅曰:“栋折榱崩,谁之咎也!”亮曰:“今日之事,不容复言。”亮乘小船,乱兵相剥掠;亮左右射贼,误中柁工,应弦而倒。船上咸失色欲散,亮不动,徐曰:“此手何可使著贼!”众乃安。

  丹杨尹羊曼领兵戍守云龙门,和黄门侍郎周导、庐江太守陶瞻都战死。庾亮帅士众准备在宣阳门内结阵,还没来得及排成队列,士众都弃甲逃跑,庾亮和兄弟庾怿、庾条、庾翼及敦默、赵胤都逃奔寻阳。临走时回头对钟雅说:“以后的事情深深拜托了。”钟雅说:“户梁折断,屋椽崩毁,这是谁的过失呢!”庾亮说:“今天此事,不容再说。”庾亮乘坐小船,乱兵竞相掠夺抢劫,庾亮的左右侍从用箭射敌,结果误中船上舵手,应声倒仆。船上人都大惊失色,准备逃散。庾亮安坐不动,缓缓地说:“这种手法怎么能让他射中寇贼呢!”大家这才安定。

  峻兵入台城,司徒导谓侍中褚曰:“至尊当御正殿,君可启令速出。”即入上阁,躬自抱帝登太极前殿;导及光禄大夫陆晔、荀崧 、尚书张共登御床,拥卫帝。以刘超为右卫将军,使与钟雅、褚侍立左右,太常孔愉朝服守宗庙。时百官奔散,殿省萧然。峻兵既入,叱褚令下。正立不动,呵之曰:“苏冠军来觐至尊,军人岂得侵逼!”由是峻兵不敢上殿,突入后宫,宫人及太后左右侍人皆见掠夺。峻兵驱役百官,光禄勋王彬等皆被捶挞,令负担登蒋山。裸剥士女,皆以坏席苫草自鄣,无草者坐地以土自覆;哀号之声,震动内外。

  苏峻的军队进入台城,司徒王导对侍中褚说:“皇上应当在正殿,你可发令让他急速出来。”褚立即进入内室,亲自抱着成帝登上太极前殿。王导及光禄大夫陆晔、荀崧、尚书张一同登上御床,护卫成帝。任刘超为右卫将军,让他和钟雅、褚侍立在左右,太常孔愉则穿着朝服守护宗庙。当时百官逃奔离散,宫殿、朝省悄然无声。苏峻的兵众进来后,叱令褚让他退开。褚正立不动,呵斥他们说:“苏峻来觐见皇上,军人岂能侵犯逼近!”因此苏峻的士兵不敢上殿,冲进后宫,宫女及太后的左右侍人都被掠夺。苏峻的士兵驱赶百官服劳役,光禄勋王彬等都被棍捶鞭挞,命令他们担着担子登蒋山。又剥光成年男女的衣物,这些人都用破席或苫草自相遮掩,没有草席的人就坐在地上用土把自己身体盖住,哀哭号叫的声音,震荡于京城内外。

  初,姑孰既陷,尚书左丞孔坦谓人曰:“观峻之势,必破台城,自非战士,不须戎服。”及台城陷,戎服者多死,白衣者无他。
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